कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज पहले अपना टिकिट बचाये – केदार कश्यप
मोदी की गारंटी 100 दिन में पूरा करने का संकल्प, हर वादा करेंगे पूरा – केदार कश्यप
जगदलपुर। वन मंत्री केदार कश्यप ने नक्सली घटनाओं में लगातार भाजपा नेताओं की हो रही हत्या अत्यंत गंभीर बताते हुये कहा कि इस तरह की घटना न हो ये कोशिश रहेगी। टारगेट किलिंग कोई छोटा-बड़ा नहीं होता, सभी एक बराबर होते हैं। हमारे बड़े नेताओं ने अपनी कुर्बानी दी है। श्री कश्यप ने प्रदेश भाजपा सरकार की योजनाओं पर कहा कि हमने जनता से जो वादा किया था उसको पूरा कर रहे हैं। मोदीजी की हर गारंटी पूरी होगी। मंत्री केदार कश्यप ने पीसीसी चीफ दीपक बैज के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि पहले कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अपना कुनबा ही संभाल लें। लोकसभा चुनाव में निश्चित पराजय से भयभीत हो कर वो तय नहीं कर पा रहे हैं कि बलि का बकरा किसे बनाया जाये।
महतारी वंदन और कई योजना जारी करने सहित अग्रिम रणनीति को लेकर मंत्री केदार कश्यप ने कहा कि ये चुनावी रणनीति नहीं है। लोगों को जो वादा किया था, गारंटी दी थी उस संकल्प को पूरा करने तय किया है। चाहे महतारी वंदन हो या किसान भाइयों को 3100 का भुगतान हो। ये संकल्प हम 100 दिनों के अंदर पूरा कर रहे हैं, कांग्रेस तो चुनावी रण से बाहर है।
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज के बयान पर केदार कश्यप ने कहा कि नाराजगी किसके साथ में है, क्या है ? यह दीपक बैज बता पाएंगे। वो अपना कुनबा नहीं संभाल पा रहे हैं। कवासी लकमा, मोहन मरकाम को नहीं संभाल पा रहे हैं। वो तय नहीं कर पा रहे हैं कि बलि का बकरा किसको बनाया जाए।
नक्सली घटना को लेकर मंत्री केदार कश्यप ने कहा कि अभी जो घटना घटी है, वह दुखद है। इस तरह की घटना न हो ये कोशिश रहेगी। इन सब की चिंता की जा रही है। जहां लगता है कोई टारगेट किलिंग स्थिति है। जैसे पखांजूर में घटना घटी और दोषी सामने आया है। उसकी जांच कार्रवाई की जाएगी। टारगेट कोई छोटा बड़ा नहीं होता सभी एक बराबर होते हैं। हमारे बड़े नेताओं ने अपनी कुर्बानी दी है।
कांग्रेस के प्रदर्शन को लेकर मंत्री श्री कश्यप ने कहा कि कांग्रेस ने जिस तरीके से 5 वर्ष में लूटने का काम किया और लूट खसोट करते हुये प्रदेश को चलाया है। भाजपा लोकतांत्रिक पार्टी है, कार्यकर्ताओं की पार्टी है और कार्यकर्ता ही पार्टी चलाते हैं।
मंत्री केदार कश्यप ने न्योता भोज को लेकर कहा कि बहुत अच्छा नवाचार है। हम अपने नौनिहाल और संस्थाओं के कार्यक्रम को न्योता के माध्यम से चला रहे हैं। जवाबदारी बनती है जैसा पूर्व में चलता था, उसके हिसाब से यह कार्यक्रम चल रहा है।